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केंद्रीय भेड़ एवं ऊन अनुसंधान संस्थान में अनुसंधान सलाहकार समिति का दौरा
मालपुरा (टोंक)। केंद्रीय भेड़ एवं ऊन अनुसन्धान संस्थान अविकानगर में बुधवार को संस्थान की अनुसन्धान सलाहकार समिति द्वारा परिसर के विभिन्न भेड़ सेक्टर्स, खरगोश एवम पशुओ के ऊन, मांस ओर दुग्ध से बनने वाले उत्पादों का भ्रमण करके आवश्यक सुझाव दिये। भारतीय क़ृषि अनुसन्धान परिषद नई दिल्ली द्वारा नामांकित अनुसन्धान सलाहकार समिति (आरएसी) के चेयरमैन डॉ वाई. हरीबाबू पूर्व कुलपति तिरुपति वेटरनरी यूनिवर्सिटी, आईसीएआर एडीजी डॉ जी के गौड़, डॉ अशोक कुमार, डॉ के एस रिसम, डॉ लोकेश गुप्ता, डॉ के के हादिया, डॉ ए के शिंदे एवं डॉ सर्वजीत यादव द्वारा अविकानगर संस्थान मे चल रहे विभिन्न शोध प्रोजेक्टस के कार्य का मूल्यांकन करके भविष्य के हिसाब से आवश्यक सुझाव दिये जायेगे। निदेशक डॉ अरुण कुमार द्वारा संस्थान के फार्म के साथ अन्य सभी गतिविधियों से समिति के सदस्यों को अवगत कराते हुए अपने संस्थान एवं क्षेत्रीय केंद्र की वैज्ञानिक टीम के साथ अपनी शोध कार्य का प्रेजेंटेशन दो दिन 19 से 20 फरवरी को किया जायेगा।

आरएसी समिति सदस्यों द्वारा सेक्टर 18 पर मालपुरा परियोजना (नेटवर्क प्रोजेक्ट ऑन शीप इम्प्रूवमेंट) की अनुसूचित जाति उपयोजना मे टोंक जिले की मालपुरा तहसील के 6 गांव चाँदसेन, भीपुर, अजमेरी, चौरूपुरा, भगवानपुरा एवं नुक्कड़ एवं पीपलू तहसील के 2 गांव जवाली एवं अरनिया के आर्थिक रूप से कमजोर एससी जाति के 10 परिवार को दो मादा भेड़ एवं एक मेल के साथ कुल 30 मालपुरा नस्ल की भेड़पालन इकाई का वितरण किया गया। इस अवसर पर एजीबी विभाग अध्यक्ष डॉ सिद्धार्थ सारथी मिश्रा एवं डॉ पी के मलिक द्वारा आसपास के क्षेत्र मे मालपुरा भेड़ मे किये जा रहे कार्य से समिति सदस्यों को विस्तार से अवगत कराया। इस अवसर पर अविकानगर के सभी विभाग हेड, प्रभारी एवं उसके क्षेत्रीय केंद्र के प्रभारी तथा पीएमई प्रभारी डॉ सी पी स्वर्णकार द्वारा भी आवश्यक शोध कार्य रिपोर्ट तैयार करके समिति के सदस्यों को प्रस्तुत की जाएगी।